प्राकृतिक सुन्दरता से आच्छांदित जल प्रतापों को देखकर रोमांचित होता है पर्यटक, पानी को देख तेजी से धड़कता है दिल

प्राकृतिक सुन्दरता की दृष्टि से भारत विश्व में अपना एक अलग स्थान रखता है। अरब देशों और पश्चिमी देशों से भारत भ्रमण पर असंख्य पर्यटकों का आना होता है। भारत में घूमने के लिए बहुत सी बेहतरीन जगहें हैं। ऊँचे पहाड़, हरे-भरे मैदान और खूबसूरत झरने, चौड़े पाटों में बहने वाली नदियाँ, रेतीले मैदान, थार का रेगिस्तान, कच्छ का रण आदि हर किसी को अपनी ओर आकर्षित करते हैं। भारत में कई खूबसूरत झरने हैं जिन्हें देखने लोग दूर-दूर से आते हैं। इन झरनों को देखने का कोई तय समय नहीं है। इन्हें आप वर्ष में कभी भी देख सकते हैं, लेकिन इन झरनों को बरसात के दिनों में देखना ज्यादा रोमांचित होता है। इन दिनों देश के ज्यादातर हिस्सों में लोग चिलचिलाती धूप और तेज गर्मी की वजह से परेशान हैं। लगातार बढ़ते पारे की वजह से लोगों का हाल बेहाल हो रहा है। ऐसे में अब लोग बेसब्री से मानसून का इंतजार कर रहे हैं। उम्मीद है जून की समाप्ति तक मानसून पूरी तरह से सक्रिय हो जाएगा। बारिश का मौसम कई लोगों का पसंदीदा सीजन होता है। बरसात में झरनों को ऊँचाई से गिरते हुए देखने का अपना एक अलग ही मजा देता है। आज हम अपने पाठकों को कुछ ऐसे ही झरनों के बारे में बताने जा रहे हैं जिन्हें आप कभी न कभी जरूर देखना पसन्द करेंगे।

धुआंधार वाटरफॉल

भारत का दिल कहे जाने वाले राज्य मध्य प्रदेश में घूमने लायक कई जगह हैं। यहां मौजूद धुआंधार वाटरफॉल देश के खूबसूरत झरनों में से एक है। यहां ऊंचाई से गिरती नर्मदा नदी बिल्कुल धुएं की तरह नजर आती है। झरने से गिरते पानी की ठंडक आपको दूर तक महसूस होगी। इस वाटरफॉल के पास ही आप भेड़ाघाट भी घूम सकते हैं, तो मार्बल की चट्टानें आपका मन मोह लेंगी।

नानेघाट वाटरफॉल

महाराष्ट्र स्थित नानेघाट झरना दुनिया के मशहूर झरनों में से एक है। यहां की खूबसूरती हर किसी को अपना दीवाना बना देती है। इस झरने की खासियत यह है कि ये झरना हवा के बहाव से उल्टा चलता है। हसीन वादियों के बीच गिरते इस झरने का खूबसूरत नज़ारा आपको एक बार जरूर देखना चाहिए।

केम्पटी वाटरफॉल

अगर आप दिल्ली या इसके आसपास रहते हैं, तो केम्पटी वाटरफॉल आपके लिए एक बढ़िया डेस्टिनेशन साबित होगा। समुद्र तल से करीब 4500 फीट की ऊंचाई पर मौजूद यह वॉटरफॉल मानसून लवर्स के लिए परफेक्ट ट्रेवल डेस्टिनेशन साबित होगा।

दूधसागर वाटरफॉल

अगर आप बरसात में गोवा घूमने का प्लान बना रहे हैं, तो यहां पास ही में मौजूद दूधसागर वाटरफॉल जरूर जाएं। 1017 फीट की ऊंचाई पर स्थित इस झरने से गोवा की मंडोवी नदी से बहती है। बारिश के मौसम में यहां का मनमोहक नजारा आपका दिल जीत लेगा।

जोग वाटरफॉल

जोग वाटरफॉल भारत का दूसरा सबसे ऊंचा झरना माना जाता है। शिमोगा और उत्तर कन्नड़ की बॉर्डर पर मौजूद ये झरना जंगलों के बीच से बहता है। अगर आप नेचर लवर हैं और आपको तैरने के साथ हाइकिंग पसंद है, तो यह जगह आपके लिए बिल्कुल परफेक्ट साबित होगी।

शिवाना समुद्र वॉटरफॉल

कर्नाटक राज्य में स्थित और बैंगलोर से लगभग 130 किमी दूर, शिवनासमुद्र जलप्रपात सड़क मार्ग से आसानी से पहुँचा जा सकता है। यह वॉटरफॉल कावेरी नदी के किनारे स्थित है और नदी दो अलग-अलग स्थानों - गगनचुक्की और भरचुक्की में विभाजित और गिरती है। यह मैसूर से 100 किमी दूर है। यह लगभग 98 मीटर की ऊंचाई से जल गिराता है। इसका उपयोग जल विद्युत उत्पादन के लिए होता है। इस पर स्थापित जल विद्युत गृह एशिया का पहला जल विद्युत गृह है, जिसकी स्थापना 1902 में हुई थी। शिवनासमुद्र बेंगलुरु से शिवनासमुद्र तक कुल 138 किलोमीटर की दूरी है। कोलेगल सबसे निकटतम शहर है, जो सड़कों से अच्छी तरह जुड़ा हुआ है और नियमित बसें हैं जो बेंगलुरु से शिवनासमुद्र तक चलती हैं। यह फॉल एक मनोरम दृश्य प्रस्तुत करता है और यहाँ आप छुट्टियों का आनंद ले सकते हैं।

भंबावली वॉटरफॉल

भंबावली वॉटरफॉल, पश्चिमी महाराष्ट्र के सतारा में सह्याद्री पहाड़ियों के पास 1840 फीट की ऊंचाई पर स्थित है। यह भारत का सबसे ऊंचाई से गिरने वाला झरना है। यह झरना उर्मोदी नदी से निकलता है। इस वॉटरफॉल का धार्मिक महत्व भी है।

चित्रकोट वॉटरफॉल

एशिया का सबसे चौड़ा और भारत का सबसे बड़ा जलप्रपात, चित्रकोट जलप्रपात को भारत का नियाग्रा फॉल भी कहा जाता है। छत्तीसगढ़ में स्थित यह झरना बस्तर जिले में इंद्रावती नदी से निकलता है। यहाँ आप भगवान शिव को समर्पित प्राचीन मंदिर भी जा सकते हैं जो इस झरने के पास स्थित है।

तालाकोना झरना

270 फीट की ऊंचाई के साथ, तालाकोना झरना आंध्र प्रदेश में सबसे ऊंचा झरना है। यह देश के सबसे खूबसूरत झरनों में से एक है और यह जंगलों और वन्य जीवन के बीच स्थित है। यह चित्तूर में श्री वेंकटेश्वर राष्ट्रीय उद्यान के भीतर स्थित है। यह भी माना जाता है कि इस झरने के पानी का औषधीय महत्व है क्योंकि इस क्षेत्र के आसपास कई औषधीय जड़ी-बूटियां हैं।

मेकेडातु वाटर फॉल

बैंगलोर से 100 किलोमीटर दूर कनकपुरा जिले में स्थित यह एक बेहद ही खूबसूरत झरना है जिसका निर्माण दो नदियों के मिलने से होता है, इस झरने का पानी लगभग 3.5 किमी डाउनस्ट्रीम गहरी घाटी से बहता है। मेकायदु का अर्थ है बकरी की छलांग है। इसके बारे में एक कहानी है कि, काफी समय पहले एक बाघ बकरी का पीछा कर रहा था। इस दौरान बकरी ने अपनी जान बचाने के लिए इन पहाड़ी से छलांग लगा दी, जिसके बाद यहां आज भी बकरी के खुर के निशान देखे जा सकते हैं। यह पहाड़ी बेहद ही फिसलन वाली है। अगर आप पहाड़ी पर चढ़ रहे हैं तो सावधानी बरते।

हॉगनकल फॉल्स

हॉगनकल फॉल्स कर्नाटक का नियाग्रा फॉल है जोकि तमिलनाडु के धर्मपुरी जिले में स्थित है। इसकी बैंगलोर से दूरी लगभग 180 किलोमीटर है। मानसून के दौरान यहां पर्यटकों का जमावड़ा देखा जा सकता है। इस झरने के बारे में कहा जाता है कि यदि पानी का बहाव ज्यादा हो तो बोटिंग करने से बचें।

मुथाला मदुवा फॉल्स

मुथाला मदुवा फॉल्स अनेकल के पास स्थित है। यह बैंगलोर से 40 किमी की दूरी पर स्थित है। इसे मोतियों की घाटी के रूप में जाना जाता है। यहां अन्य जगहों के मुकाबले छोटा वाटरफॉल है, बावजूद यहां पर्यटकों की भीड़ देखी जा सकती है। वीकेंड के दौरान यहां दोस्तों के साथ पिकनिक और बोटिंग का मजा लिया जा सकता है।