साल 2020 रहेगा सफलताओं से भरा, करें लाल किताब के ये 5 उपाय

सभी चाहते हैं कि यह नया साल उनके जीवन में सुख-समृद्धि और सफलता लेकर आए। ।इसके लिए व्यक्ति अपना लक्ष्य भी तय कर लेता हैं और उसके अनुरूप मेहनत भी करता हैं। लेकिन इसी के साथ जरूरी हैं कि अपनी किस्मत को भी मज्बोत किया जाए। इसलिए आज हम आपके लिए लाल किताब के कुछ ऐसे उपाय लेकर आए हैं जो इस नए साल में आपकी किस्मत को मजबूत बनाने के साथ ही सफलता की प्राप्ति भी करवाएंगे। तो आइये जानते हैं इन उपायों के बारे में।

गरीबों को भोजन कराएं

अपंग, अंधे, लाचार और गरीबों को भोजन कराएं। मंदिर के बाहर बैठे भिखारी, कन्याएं आदि सभी को आप अपनी इच्छानुसार भोजन कराएंगे तो पुण्य तो मिलेगा ही साथ ही माता दुर्गा और शनिदेव प्रसन्न होंगे।

नीम का पेड़ लगाएं

आप अपने घर की दक्षिण दिशा में नीम का एक पेड़ लगाएं और उसकी देखरेख करें जब तक की वह अच्छे से चेत नहीं जाता या बड़ा नहीं हो जाता है। यह पेड़ साक्षात मंगल है। इस पेड़ की सेवा करने से आपके जीवन में कभी भी अमंगल नहीं होगा।

व्यसन को त्याग दें

शराब पीने से शनि, सिगरेट पीने से राहु और तंबाकू खाने से आपका बुध बुरा फल देने लगेगा। अत: बेहतर होगा कि आप इनका सेवन करना त्याग दें। बुध ग्रह नौकरी और व्यापार का कारक है और राहु ग्रह जीवन में अचानक आ जाने वाली समस्याओं का कारक है। शनि आपके बुरे कर्मों की सजा देने वाला है।

झूठ न बोलें

लाल किताब के अनुसार कुंडली का दूसरा खाना बोलने और तीसरा खाना बोलने की कला से संबंध रखता है। पहला आपके पास क्या है और दूसरा आप उससे क्या कर सकते हैं? इससे संबंध रखता है। यदि आप झूठ बोलते हैं तो दूसरे और तीसरे भाव अर्थात खाने में अपने आप ही गलत असर चला जाता है। कहते हैं कि पहला मनसा, दूसरा वाचा और तीसरा कर्मणा। कुंडली में दूसरा भाव आपके ससुराल, धन और परिवार का है और तीसरा भाव आपके कर्म और पराक्रम का भी है। अत: यदि आप झूठ बोलते हैं तो आपका पराक्रम भी जाता रहेगा। कार्यालय और व्यवसाय दोनों ही नष्ट हो जाएंगे।

कभी भी ब्याज का धंधा ना करें

लाल किताब के अनुसार ब्याज का धंधा करने से शनि का प्रकोप प्रारंभ हो जाता है। यह जीवन के किसी भी मोड़ पर दंड देता है। कभी-कभी यह भयंकर परिणाम देने वाला होता है, तो कभी यह संचित कर्म का हिस्सा बन जाता है। हालांकि इसके पीछे एक तथ्य यह है कि ब्याज का धंधा करने वाले को बद्दुआ ज्यादा मिलती है। उसकी बुद्धि रुपयों को लेकर अलग ही तरह की निर्मित हो जाती है। वह अपने परिवार पर भी यदि किसी भी प्रकार का खर्च करना है तो अपने नुकसान के बारे में सोचता है।