Amla Navami 2019 : आंवला नवमी के दिन जरूर करें ये 10 उपाय, होगी अक्षय पुण्य की प्राप्ति

आज कार्तिक मास की शुक्ल पक्ष की नवमी तिथि हैं जिसे आमला (आंवला) नवमी के रूप में जाना जाता हैं। पौराणिक मान्यताओं के अनुसार कार्तिक शुक्ल नवमी से पूर्णिमा तक भगवान विष्णु आंवले के पेड़ पर निवास करते हैं और आज आंवले के पेड़ की पूजा की जाती हैं। इस दिन दान, पूजा, भक्ति, सेवा जहां तक संभव हो व अपनी सामर्थ्य अनुसार अवश्य करें। आज हम आपको कुछ ऐसे काम बताने जा रहे हैं जो आंवला नवमी के दिन जरूर किये जाने चाहिए क्योंकि ये आपको अक्षय पुण्य की प्राप्ति करवाते है। तो आइये जानते हैं इन उपायों के बारे में।

- आंवला नवमी के दिन सुबह नहाने के पानी में आंवले का रस मिलाकर नहाएं। ऐसा करने से आपके ईर्द-गिर्द जितनी भी नेगेटिव ऊर्जा होगी वह समाप्त हो जाएगी।

- आज के दिन स्नान, पूजन, तर्पण तथा अन्नदान करने का बहुत महत्व होता है।

- आंवले के पेड़ के नीचे झाड़ू से साफ-सफाई करें। फिर दूध, फूल एवं धूप से पूजन करें। इसकी छाया में पहले ब्राह्मणों को भोजन करवाएं फिर स्वयं करें।

- भोजन करते वक्त थाली में आंवले का पत्ता गिर जाए तो आपके भविष्य के लिए यह मंगलसूचना का संकेत है। आने वाला साल सेहत के लिए तंदरूस्ती भरा होगा।

- आंवले की पूजा अथवा उसके नीचे बैठकर भोजन खाना संभव न हो तो आंवला जरूर खाएं।

- चरक संहिता में बताया गया है अक्षय नवमी को महर्षि च्यवन ने आंवला खाया था जिस से उन्हें पुन: जवानी अर्थात नवयौवन प्राप्त हुआ था। आप भी आज के दिन आंवले का उपाय करके नवयौवन प्राप्त कर सकते हैं।

- शास्त्र कहते हैं आंवले का रस हर रोज पीने से पुण्यों में बढ़ोतरी होती है और पाप नष्ट होते हैं।

- इस दिन आंवले का वृक्ष घर में लगाना वास्तु की दृष्टि से शुभ माना जाता है। वैसे तो पूर्व की दिशा में बड़े वृक्षों को नहीं लगाना चाहिए किंतु आंवले के वृक्ष को इस दिशा में लगाने से सकारात्मक ऊर्जा का प्रवाह होता है। इसे घर की उत्तर दिशा में भी लगाया जा सकता है।

- इस दिन पितरों के शीत (ठंड) निवारण के लिए ऊनी वस्त्र व कंबल दान करना चाहिए।

- जिन बच्चों की स्मरण शक्ति कमजोर हो तथा पढ़ाई में मन न लगता हो, उनकी पुस्तकों में आंवले व इमली की हरी पत्तियों को रखना चाहिए।