Merry Christmas 2021: देश भर में क्रिसमस की धूम, पढ़ें जीसस से जुड़ी कुछ अनसुनी बातें...

दुनियाभर में आज लोग क्रिसमस सेलिब्रेट (Merry Christmas 2021) कर रहे हैं। आज के दिन सभी ईसाई समुदाय के लोग प्रभु यीशु का जन्मदिन मनाते हैं। क्रिसमस का जश्न सिर्फ एक दिन नहीं बल्कि पूरे 12 दिनों तक मनाया जाता है। शुक्रवार रात 12 बजे से ही बड़ी संख्या में लोग चर्च पहुंच रहे हैं। मैथ्यू के गोस्पेल के अनुसार लोगों के सही मार्गदर्शन के लिए ही प्रभु यीशु ने जन्म लिया था। जीसस के बारे ऐसी ढेर सारी बातें हैं जिनके बारे में बहुत कम लोग जानते हैं जो आज हम आपके लिए लेकर आए है...

यीशु को नाम


यीशु के नाम की घोषणा स्वर्गदूतों के द्वारा की गई थी। बाइबिल में इस बात का जिक्र है कि एक स्वर्गदूत यीशु की मां मैरी के पास गया और उससे कहा कि आप पर ईश्वर की विशेष कृपा है और वो आपके साथ हैं। स्वर्गदूत ने कहा कि कि तुम एक बच्चे को जन्म दोगी जिसका नाम जीसस होगा।

जीसस का सरनेम क्राइस्ट नहीं था

जीसस का सरनेम क्राइस्ट नहीं था। पहली सदी में फिलिस्तीन में लोगों के सरनेम नहीं हुआ करता था। उस समय लोग माता-पिता के नाम से बच्चों की पहचान करते थे। क्राइस्ट शब्द ग्रीक के क्राइस्टोस से निकला है जिसका अर्थ है मसीहा।

क्या है यीशु की जन्मतिथि

25 दिसंबर को यीशु के जन्म दिवस को लेकर संदेह है। दरअसल, बहुत पहले हिप्पोलिटस और जॉन क्रिसस्टोम जैसे ईसाई नेताओं ने 25 दिसंबर की तिथि का अवलोकन किया और आखिर में जश्न मनाने के लिए इस तिथि को चुना गया। हालाकि, विद्वानों का कहना है कि यीशु का नम सर्दी में नहीं बल्कि पतझड़ के मौसम में हुआ था।

जीसस के कई भाई-बहन थे


मैथ्यू के गोस्पेल के अनुसार, जीसस के 4 भाई थे जिनका जाम जेम्स, जोसेफ, सायमन और जुडास बताए गए हैं।

यीशु ने बढ़ई का काम किया

गोस्पेल के अनुसार, यीशु शुरू मे कारपेंटर यानी बढ़ई का काम करते थे। दरअसरल यीशु के भाई जोसेफ एक कारपेंटर थे और कहा जाता है कि यीशु ने उनसे ही ये काम सीखा था। बाद में शहर के लोग उन्हें भी कारपेंटर के रूप में जानने लगे।

यीशु दिखने में बहुत साधारण थे

वैसे तो यीशु की शारीरिक बनावट के बारे में ज्यादा जानकारी नहीं है, लेकिन कहा जाता है कि वो बहुत साधारण नैन-नक्श वाले थे।

यीशु का पहला चमत्कार

ऐसा माना जाता है कि यीशु बड़े-बड़े चमत्कार करते थे। उन्होंने अपना पहला चमत्कार काना में एक शादी समारोह के दौरान किया था। यहां उन्होंने पानी को शराब बना दिया था जिसके बाद हर तरफ यीशु के चर्चे होने लगे थे।

शाकाहारी नहीं थे यीशु

मैथ्यू के गोस्पेल के अनुसार, यीशु शाकाहारी नहीं थे। इसमें जिक्र किया गया है कि वो भी बाकी यहूदियों की तरह मांस खाते थे। यीशु नियमित रूप से मछली खाते थे।

यीशु ने 40 दिनों तक उपवास किया

बाइबल के अनुसार, यीशु ने 40 दिनों तक उपवास रखा था। आमतौर पर इतने दिनों तक का उपवास कोई साधारण इंसान नहीं रख सकता है।

कई भाषाएं बोलते थे यीशु

पहली सदी के फिलिस्तीन में यहूदियों द्वारा बोली जाने वाली प्राथमिक भाषा अरमाइक थी। मैथ्यू के गोस्पेल के अनुसार यीशु को आरामाइक, हिब्रू और ग्रीक समेत कई कई भाषाएं बोलते थे।