Ganesh Chaturthi 2018 : कलयुग में श्रीगणेश लेंगे धूम्रवर्ण अवतार, जानें कब

जैसा कि पुराणों में कहा गया है कि जब-जब इस धरती पर पाप बढेगा, तब-तब भगवान धरती पर अवतार लेंगे। आपने सुना ही होगा भगवान विष्णु के कल्कि अवतार के बारे में जो कलयुग में आने वाला हैं। उसी तरह श्रीगणेश भी कलयुग में अवतार के रूप में प्रकट होंगे। आज गणेश चतुर्थी Ganesh Chaturthi 2018 के इस पावन पर्व पर हम आपको श्रीगणेश द्वारा कलयुग में लेने वाले धूम्रवर्ण अवतार के बारे में बताने जा रहे हैं। तो आइये जानते हैं इसके बारे में।

गणेश पुराण बताती है की घोर कलियुग आने पर धरती को पाप से मुक्ति के लिए भगवान श्री गणेश फिर से अवतार लेंगे और उनका नाम शूर्पकर्ण, धूम्रकेतु और धूम्रवर्ण होगा। इस अवतार में वे नीले घोड़े पर विराजित होंगे। वे पापियों पर अत्यंत क्रोधित होंगे जिससे इनका शरीर महातेजस्वी होगा। इनके शरीर से ज्वालाए निकलती रहेगी। वे अपने एक महाबलशाली सेना के साथ अपने नील अश्व पर बैठकर खड्ग हाथ में लिए शत्रुओ का विनाश करेंगे। वे तब तक दुष्टो का संहार करते रहेंगे जब तक यह धरती उनके पापो से मुक्त नही हो जाती। वे अपने भक्तो की रक्षा कर उन्हें सहारा देंगे और फिर इस तरह सतयुग का आरम्भ होगा।

आने वाला समय कलियुग में वे सभी पाप चरम पर होंगे जो इस समय धीरे धीरे दिखाई दे रहे है। पंडितो का कार्य दुसरे वर्ण वाले करने लगेंगे। पंडित पेटू हो जायेंगे। अधर्म की जीत होती रहेगी। देवी देवताओ पर भुत प्रेत को लोग पूजने लगेंगे। बलशाली व्यक्ति कमजोरो का शोषण करेंगे। काम क्रोध लोभ पाप अपने चरम चोटी पर होगा। मनुष्य की उम्र बस 16 साल रह जाएगी। पांच छ साल में प्रसव होने लग जायेगा। समय पर वर्षा नही होगी। खाने पीने के अन्न की कमी हो जाएगी। तीर्थ स्थल खत्म कर दिए जायेंगे।